CM Rising School: बदइंतजामी से नहीं मिल रहा सीएम राइजिंग स्कूलों को बल, सरकारी दावे खोखले

CM Rising School: मध्य प्रदेश सरकार ने राज्य में शिक्षा का स्तर ऊंचा उठाने के इरादे से सीएम राइजिंग स्कूल (CM Rising School) खोले थे। सरकार की मंशा थी कि इन स्कूल्स में बच्चों को बेहतर शिक्षा देने के साथ...
cm rising school  बदइंतजामी से नहीं मिल रहा सीएम राइजिंग स्कूलों को बल  सरकारी दावे खोखले

CM Rising School: मध्य प्रदेश सरकार ने राज्य में शिक्षा का स्तर ऊंचा उठाने के इरादे से सीएम राइजिंग स्कूल (CM Rising School) खोले थे। सरकार की मंशा थी कि इन स्कूल्स में बच्चों को बेहतर शिक्षा देने के साथ ही एक अच्छा माहौल भी मिले। हालांकि, धरातल पर सरकार अपने इस प्रयास से कोसों दूर नजर आ रही। हाल फिलहाल तो यह योजना विफल ही नजर आ रही है। आइए इस खबर के बारे में विस्तार से जानते हैं।

सरकार ने वाहवाही लूटने के प्रयास में आनन-फानन में स्कूल तो खोल दिए, लेकिन व्यवस्थाओं के अभाव में यह योजना फायदे की बजाय नुकसान का सौदा साबित होती दिखाई दे रही है। ज्यादातर स्कूलों की स्थिति ये है कि वह दूर-दराज के इलाकों में खोल दिए गए हैं। वहां बच्चों के स्कूल तक पहुंचने के इंतजाम नहीं हैं और बच्चे पहुंच भी जाएं तो पढ़ाने के लिए पर्याप्त शिक्षक नहीं हैं।

शिवराज सिंह चौहान के दिमाग की उपज

वर्ष 2023 में विधानसभा चुनाव से पहले तत्कालीन मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान (Shivraj Singh Chouhan) ने प्रदेश में 9,000 सीएम राइजिंग स्कूल खोलने की घोषणा की थी। उनके कार्यकाल में काफी कम संख्या में ही स्कूल बनकर तैयार हो पाए। ज्यादातर स्कूल तो ऐसे हैं जो दूसरे भवनों में चल रहे हैं जहां पर्याप्त सुविधा तक नहीं है।

योजना का सफल संचालन मोहन सरकार के लिए चुनौती

अब प्रदेश के नए मुखिया मोहन यादव (Mohan Yadav) की पहल पर प्रवेश को लेकर स्कूलों में प्रवेश उत्सव मनाया जा रहा है। सरकार की कोशिश है कि सीएम राइजिंग स्कूलों में बच्चे आएं और बेहतर शिक्षा हासिल करें, लेकिन हालात अभी भी लचर ही बने हुए हैं। ना तो पूरी तरह से भवन तैयार हैं और ना ही हर स्कूल में बच्चों के पहुंचने के लिए वाहनों के इंतजाम हैं। ग्वालियर चंबल अंचल में तो इन स्कूलों को लेकर अभी टेंडर प्रक्रिया ही चल रही है।

निजी स्कूलों को देना चाहते थे चुनौती, हालात सरकारी से भी बदतर

सीएम राइजिंग स्कूलों में वे सभी सुविधाएं मुहैया कराई जानी थी जो एक निजी स्कूल में पढ़ने वाले छात्रों को मिलती है। अच्छे भवन से लेकर परिवहन तक सभी सुविधाएं इन स्कूलों में दी जानी थीं। दो सत्र बीतने के बाद भी अब तक ग्वालियर जिले में बन रहे 8 सीएम राइजिंग स्कूल के भवन तक पूरी तरह से तैयार नहीं हो पाए हैं।

कांग्रेस ने उठाए योजना पर सवाल

इस स्कूलों की अव्यवस्थाओं को लेकर कांग्रेस ने भी सवाल उठाए हैं। कांग्रेस प्रवक्ता राम पांडे ने कहा है कि सरकार इस योजना को लेकर गंभीर नजर नहीं आ रही है ये पूरी योजना केवल कागजों में ही चलती दिखाई दे रही है। सरकार ना तो अच्छे स्कूल बनवा पाई है और ना ही अध्यापकों की भर्ती कर पाई है।

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